ऑपरेशन सिंदूर को लेकर राहुल गाँधी ने उठाये सवाल, बोले 5 जहाजों का सच क्या…

भारत ने 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले का करारा जवाब ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत दिया। इस सैन्य अभियान के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच 10 मई को संघर्ष विराम की घोषणा हुई। दावा है कि यह सीजफायर अमेरिका की मध्यस्थता से संभव हुआ, जिसकी पुष्टि खुद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कई मौकों पर की।
हाल ही में ट्रंप ने यह भी कहा कि संघर्ष के दौरान कुल पांच फाइटर जेट मार गिराए गए। हालांकि, उन्होंने यह स्पष्ट नहीं किया कि ये विमान भारत के थे या पाकिस्तान के। उनके इस बयान के बाद भारत में सियासी हलचल मच गई।
राहुल गांधी ने मोदी सरकार से मांगा जवाब
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से इस मुद्दे पर सार्वजनिक रूप से सवाल किया। उन्होंने सोशल मीडिया मंच X (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा, “मोदी जी, 5 जहाज़ों का सच क्या है? देश को जानने का हक है!”
बीजेपी ने राहुल पर किया पलटवार
राहुल गांधी के बयान पर भाजपा ने तीखी प्रतिक्रिया दी। पार्टी के आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय ने राहुल पर निशाना साधते हुए कहा, “राहुल गांधी की सोच देशविरोधी है। जब ट्रंप ने साफ तौर पर भारत का नाम नहीं लिया, तब कांग्रेस के नेता ने यह क्यों मान लिया कि विमान भारत के थे? पाकिस्तान के क्यों नहीं?”
उन्होंने आगे कहा, “ऑपरेशन सिंदूर से पाकिस्तान की कमर टूटी, लेकिन दर्द राहुल गांधी को हो रहा है। देश की सेना जब आतंकवादियों को मुंहतोड़ जवाब देती है, तब कांग्रेस बेचैन क्यों हो जाती है?”
भारतीय सेना ने पाकिस्तान के दावों को बताया झूठा
इससे पहले भारत के चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल अनिल चौहान ने भी पाकिस्तान के उस दावे को खारिज किया था, जिसमें उसने छह भारतीय विमानों को मार गिराने की बात कही थी। उन्होंने एक इंटरव्यू में कहा था कि पाकिस्तान का यह दावा पूरी तरह बेबुनियाद है।
ऑपरेशन सिंदूर से पाकिस्तान को हुआ भारी नुकसान
भारतीय सशस्त्र बलों की इस जवाबी कार्रवाई में पाकिस्तान को बड़ा सैन्य नुकसान उठाना पड़ा। सूत्रों के मुताबिक, भारतीय वायुसेना की कार्रवाई में 100 से अधिक आतंकवादी ढेर हुए, जिनमें कई हाई-प्रोफाइल आतंकी शामिल थे। इसके अलावा पाकिस्तान एयरफोर्स के करीब 20% इंफ्रास्ट्रक्चर को भी नुकसान पहुंचा। रहीम यार खान, सरगोधा, सुक्कुर और नूर खान जैसे एयरबेस भी हमले की चपेट में आए।
साथ ही, कई आतंकी शिविर और हथियार डिपो पूरी तरह तबाह कर दिए गए। भारत की यह सैन्य कार्रवाई पाकिस्तान को स्पष्ट संदेश था कि सीमा पार से आतंक का जवाब अब और ज्यादा सटीक और निर्णायक होगा।
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