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Delhi Pollution Update: दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण का भयानक रूप, कई इलाकों में AQI 400 पार, सांस लेना हुआ दुष्कर

रोहिणी, बवाना, वजीरपुर समेत कई हॉटस्पॉट पर प्रदूषण का सबसे ज्यादा खतरा; डॉक्टरों ने बच्चों और बुजुर्गों को किया आगाह।

Delhi Pollution Update: दिल्ली और उसके आसपास के इलाकों में हवा का हाल फिर से बिगड़ गया है। जहरीली हवा ने लोगों की जिंदगी को मुश्किल बना दिया है। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के आंकड़ों के मुताबिक, शनिवार सुबह राजधानी का औसत एयर क्वालिटी इंडेक्स यानी AQI 359 रहा। यह ‘बहुत खराब’ श्रेणी में है। शुक्रवार के 364 से थोड़ा कम तो है, लेकिन हवा की तेज गति के बावजूद स्मॉग की मोटी चादर छाई हुई है। एनसीआर के शहरों जैसे गाजियाबाद और नोएडा में भी प्रदूषण का स्तर ऊंचा है। डॉक्टर कहते हैं कि ऐसी हवा सांस की बीमारियों को जन्म दे रही है। लाखों लोग घरों में कैद हो गए हैं।

आनंद विहार, बवाना, रोहिणी समेत कई जगहों पर AQI 400 से ऊपर, सबसे ज्यादा खतरा

दिल्ली के कई इलाकों में प्रदूषण गंभीर स्तर पर पहुंच गया है। आनंद विहार में AQI 420, बवाना में 414, रोहिणी में 412, वजीरपुर में 427, जहांगीरपुरी में 417, मुंडका में 414, अशोक विहार में 403, डीटीयू में 396, द्वारका में 389, बुराड़ी में 374, आईटीओ में 370, पंजाबी बाग में 370, आरके पुरम में 372, आया नगर में 333 और नजफगढ़ में 316 दर्ज किया गया। ये आंकड़े 400 से ऊपर होने पर ‘गंभीर’ कहलाते हैं। यहां हवा में मौजूद जहर सांस के रोगियों के लिए घातक साबित हो सकता है।

एनसीआर के बाकी हिस्सों में भी हाल बेहाल है। गाजियाबाद का औसत AQI 422 रहा। वहां लोनी में 450, संजय नगर में 417 और इंदिरापुर में 394 मापा गया। नोएडा में सेक्टर 125 पर 429, सेक्टर 1 में 394 और सेक्टर 62 में 340 AQI रहा। गुरुग्राम में NISए ग्वाल पहाड़ी पर 316, सेक्टर 51 में 317, टेरी ग्राम में 216 और विकास सदन में 272 दर्ज हुआ। ग्रेटर नोएडा में 353, फरीदाबाद में सेक्टर 30 पर 224, न्यू इंडस्ट्रियल टाउन में 293 और सेक्टर 11 में 199 AQI रहा। शुक्रवार को गाजियाबाद सबसे प्रदूषित शहर था।

प्रदूषण के कारण और स्वास्थ्य पर असर: पराली जलाना, वाहन धुआं बना जहर

प्रदूषण के पीछे कई वजहें हैं। वाहनों का काला धुआं, फैक्टरियों का उत्सर्जन, पराली जलाना और मौसम की सुस्ती मुख्य हैं। इनसे स्मॉग की परत बन गई, जो हवा को जहरीला बना रही है। डॉक्टरों का कहना है कि इससे आंखों में जलन, खांसी, सांस फूलना जैसी दिक्कतें हो रही हैं। बच्चे, बुजुर्ग और सांस के मरीज सबसे ज्यादा खतरे में हैं। सीपीसीबी ने चेतावनी दी है कि सोमवार तक हवा ‘बहुत खराब’ ही रहेगी।

GRAP के तहत निर्माण पर रोक, लेकिन विशेषज्ञों की सलाह: मास्क लगाएं, बाहर न निकलें

सरकार ने ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान के तहत निर्माण कार्य सीमित कर दिए हैं। लेकिन ज्यादा कदमों का इंतजार है। विशेषज्ञ सलाह देते हैं कि लोग घर में रहें, मास्क पहनें, बाहर खेलना-कूदना बंद करें। एयर प्यूरीफायर का इस्तेमाल करें। खिड़की-दरवाजे बंद रखें। यह प्रदूषण दिल्ली-एनसीआर के करोड़ों लोगों के लिए संकट है। तुरंत बड़े उपायों की जरूरत है, वरना सर्दी में हालात और बिगड़ेंगे।

Sanjna Gupta
Author: Sanjna Gupta

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