*बिहार: बिहार में बीपीएससी (Bihar Public Service Commission) के अभ्यर्थियों पर लाठीचार्ज की घटना ने राज्य में राजनीतिक हलचल मचा दी है। यह घटना तब हुई जब हजारों अभ्यर्थी 70वीं सिविल सेवा परीक्षा के नॉर्मलाइजेशन के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे थे। छात्रों ने बीपीएससी कार्यालय के बाहर एकत्र होकर अपनी मांगें रखीं, जिसमें नॉर्मलाइजेशन प्रक्रिया को समाप्त करने और परीक्षा को एक ही दिन और एक ही शिफ्ट में आयोजित करने की मांग शामिल थी।
लाठीचार्ज की घटना
प्रदर्शनकारियों ने जब अपनी आवाज उठाई, तो पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की, जिसके परिणामस्वरूप स्थिति तनावपूर्ण हो गई। पुलिस ने भीड़ को नियंत्रित करने के लिए लाठीचार्ज किया, जिसमें कई छात्र घायल हुए और कुछ को गंभीर चोटें आईं। प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि पुलिस ने बर्बरता से कार्रवाई की, जबकि वे शांति पूर्वक अपनी बात रख रहे थे।
तेजस्वी यादव का बयान
इस घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने कहा कि अगर उनकी पार्टी सत्ता में आती है, तो वे बिहार के लोगों को 200 यूनिट मुफ्त बिजली देने का वादा कर रहे हैं। उन्होंने वर्तमान सरकार पर आरोप लगाया कि वह जनता के मुद्दों को नजरअंदाज कर रही है और प्रशासनिक असफलताओं का सामना कर रही है। यादव ने कहा कि सरकार को छात्रों की समस्याओं का समाधान करना चाहिए और उनके अधिकारों का सम्मान करना चाहिए।
दिलीप जायसवाल की प्रतिक्रिया
दूसरी ओर, बिहार सरकार के प्रवक्ता दिलीप जायसवाल ने तेजस्वी यादव की आलोचना करते हुए कहा कि उनका काम केवल लोगों को भड़काना नहीं होना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि तेजस्वी यादव अपने पिता के नाम के सहारे राजनीति में हैं और उनकी शिक्षा और अनुभव पर सवाल उठाए। जायसवाल ने कहा, “विपक्ष का असली काम सरकार को सुझाव देना और जनता के हितों की रक्षा करना है।”
निष्कर्ष
इस घटनाक्रम ने बिहार की राजनीतिक स्थिति को और भी जटिल बना दिया है, जहाँ एक ओर छात्र अपनी मांगों के लिए संघर्ष कर रहे हैं, वहीं दूसरी ओर राजनीतिक नेता इस मुद्दे का लाभ उठाने की कोशिश कर रहे हैं। छात्रों की समस्याओं को लेकर यह विवाद अब राजनीतिक बहस का हिस्सा बन गया है, जिससे आने वाले दिनों में और भी हलचलों की उम्मीद है।