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झारखंड में डिजिटल अरेस्ट कर ठग लिए 20 लाख रुपए, साइबर अपराधियों ने ऐसे किया फ्रॉड

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बोकारो-साइबर ठगों ने डिजिटल अरेस्ट का भय दिखाकर बोकारो जनरल अस्पताल के चिकित्सा प्रमुख डॉ विभूति भूषण करुणामय से 20 लाख 87 हजार 947 रुपए ठग लिए. घटना 15 जनवरी 2025 की है. डॉ करुणामय ने साइबर सेल में रविवार को इसकी शिकायत दर्ज करायी है. साइबर सेल के प्रभारी रवींद्र कुमार ने बताया कि मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी गयी है. डॉ विभूति ने साइबर पुलिस को बताया कि वह अस्पताल में थे, तभी एक कॉल आया. कॉल करनेवाले ने बताया कि वह दूरसंचार विभाग से हैं. नौ नंबर दबाएं. उनके मोबाइल से कुछेक गलत काम किया गया है. जब डॉ विभूति भूषण करुणामय ने नौ नंबर बटन दबाया, तो एक दूसरे आदमी से उनकी बात करायी गयी. उस आदमी ने बताया कि उनके आधार कार्ड से कुछ सीम मुंबई सहित दूसरे शहरों में खरीदे गए हैं. उस सीम कार्ड से अवैध काम किये गये हैं. एक खाता केनरा बैंक में खोला गया है. इस खाते का एक एटीएम कार्ड भी जारी हुआ है. साइबर ठग ने कहा कि उनके नाम (डॉ विभूति भूषण करुणामय) से नॉन बेलेबल अरेस्ट वारंट जारी है. इसके बाद उसने वीडियो कॉल करने को कहा.

बीजीएच के चिकित्सा प्रमुख डॉ विभूति भूषण करुणामय ने साइबर पुलिस को बताया कि सब कुछ ठीक करने के नाम पर उन्हें बैंक से आरटीजीएस करने को कहा गया. उन्होंने 16 जनवरी को 20 लाख 87 हजार 947 रुपये बैंक खाते में आरटीजीएस कर दिया. इसके बाद कॉल करनेवाले ने कहा कि जो पैसा भेजा गया है, कोर्ट में जमा हो रहा है. बाद में वापस हो जायेगा. वह सेफ हैं, चिंता मत करें. राष्ट्रीय सुरक्षा के तहत सादे कागज पर यह भी लिखवाया कि वह इसकी जानकारी किसी को भी नहीं देंगे. डॉ विभूति ने वैसा ही किया. इसके बाद फिर 25 लाख रुपये की मांग की गयी. इसके बाद डॉ विभूति को शक हुआ. साइबर थाने में जाकर उन्होंने शिकायत दर्ज करायी.

बोकारो के डीएसपी मुख्यालय अनिमेष कुमार गुप्ता ने बताया कि बीजीएच के डीएमएस से साइबर ठगी का मामला दर्ज कर लिया गया है. अनुसंधान में टेक्निकल सेल को एक्टिव कर दिया गया है. आशा करते हैं कि जल्द ही साइबर फ्रॉड करने वाले क्रिमिनल्स पकड़े जायेंगे.

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