'अंधाधुंध ब्याज दिया, अब अलविदा', कर्जदारों से परेशान सहारनपुर के सौरभ बब्बर ने पत्नी संग मौत को लगाया गले, सुसाइड नोट में लिखी ये बातें

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*'अंधाधुंध ब्याज दिया, अब अलविदा', कर्जदारों से परेशान सहारनपुर के सौरभ बब्बर ने पत्नी संग मौत को लगाया गले, सुसाइड नोट में लिखी ये बातें*
न्यूज़ मीडिया किरण संवाददाता
यूपी:कर्जदारों से परेशान सहारनपुर के सौरभ बब्बर ने पत्नी मोना के साथ गंगा में कूदकर आत्महत्या कर ली. मौत से पहले दोनों ने आखिरी सेल्फ़ी ली, फिर उसे सुसाइड नोट के साथ दोस्त के व्हाट्सएप पर भेज दिया. इस सुसाइड नोट में क्या-क्या लिखा है, आइए जानते हैं...

'मैं कर्ज के दलदल में इस कदर फंस गया हूं कि बाहर निकलने का कोई रास्ता नहीं बचा. इसलिए मैं और मेरी धर्मपत्नी अपनी जीवन लीला समाप्त कर रहे हैं...', सुसाइड नोट में ये लाइनें लिखी हैं सहारनपुर के सौरभ बब्बर ने. कर्जदारों से परेशान सौरभ ने पत्नी मोना के साथ हरिद्वार में गंगा में कूदकर आत्महत्या कर ली. मौत से पहले दोनों ने आखिरी सेल्फ़ी ली, फिर उसे सुसाइड नोट के साथ दोस्त के व्हाट्सएप पर भेज दिया. गंगा में छलांग लगाने से पहले दंपति ने घरवालों को भी फोन किया था.

दरअसल, सहारनपुर के किशनपुरा में सौरभ की ज्वैलरी शॉप है. लेकिन काफी समय से व्यापार में घाटा चल रहा था. इस बीच उनके ऊपर करोड़ों का कर्ज हो गया था.  जो चार-पांच कमेटियां (आपस में पैसा जमा करना और फिर किस्तों पर उधार लेना) उन्होंने चलाई थी उनके भी पेमेंट का टाइम आ गया था. लेकिन सौरभ के पास पैसे नहीं बचे. उधर, कर्जदार वसूली के लिए घर आने लगे. आखिर में इन सबसे तंग आकर सौरभ ने पत्नी के साथ अपनी जान दे दी.

दरअसल, कमेटी सिस्टम में सब मेम्बर से बराबर पैसा लिए जाता है, टोकन दिए जाते हैं, बोली लगाई जाती है. जिसका टोकन पहले निकलता है उसको जमा हुआ पैसा ब्याज पर मिल जाता है. निश्चित समयावधि में इसे लौटाना होता है. मगर सौरभ कमेटी का पैसा नहीं लौटा पा रहे थे. बताया जा रहा है कि करीब 5 कमेटियां सौरभ ने चला रखी थी. एक कमेटी में 200 मेंबर थे और एक मेंबर की ₹2000 की किस्त थी. सभी कमेटियों की मियाद पूरी हो चुकी थी और लोगों को पैसे देना था. देनदारी की रकम करोड़ों में पहुंच गई थी.

सुसाइड नोट में क्या लिखा?

सौरभ बब्बर ने गंगा में कूदने से पहले जो सुसाइड नोट अपने दोस्त को व्हाट्सएप पर भेजा, उसमें लिखा है- "मैं कर्ज के दलदल में इस कदर फंस गया हूं कि बाहर निकलने का कोई रास्ता नहीं बचा. अंत में मैं और मेरी धर्मपत्नी मोना बब्बर अपनी जीवन लीला समाप्त कर रहे हैं. हमारी किशनपुरा वाली प्रॉपर्टी हमारे दोनों बच्चों के लिए है. हमारे बच्चे अपनी नानी के घर रहेंगे. हमें किसी और पर भरोसा नहीं. दोनों बच्चों को अब हम पति-पत्नी उनके हवाले करके जा रहे हैं. जब हम आत्महत्या करेंगे तो व्हाट्सएप पर फोटो शेयर कर देंगे. हमने लेनदारों को अंधाधुंध ब्याज दिया, लेकिन अब नहीं दे पा रहे. दुनिया को अलविदा."

आत्महत्या से पहले सौरभ बब्बर ने अपने घर पर लास्ट कॉल भी की थी, जिसकी रिकॉर्डिंग सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है. इस कॉल में सौरभ कह रहे हैं कि हमारा वीडियो सबको दिखा देना, हम हरिद्वार में हैं और अपनी जीवन लीला समाप्त कर रहे हैं. यहां से छलांग लगाने जा रहे हैं.

बच्चों को नाना-नानी के घर छोड़ गए थे

नगर कोतवाली क्षेत्र के किशनपुरा निवासी सौरभ बब्बर की मोहल्ले में ही ज्वैलर्स की दुकान थी. रविवार की रात सौरभ बब्बर अपनी पत्नी मोना बब्बर के साथ हरिद्वार गए थे. सोमवार को उनका शव गंग नहर से मिला. पत्नी मोना अब भी लापता है. सौरभ के पास लोगों का काफी पैसा था और उन पर भारी कर्ज था. उनके दो बच्चे हैं, जिन्हें मरने से पहले वे नाना-नानी के घर छोड़ गए थे. हालांकि, तब किसी को नहीं पता था कि दंपति इतना बड़ा कदम उठा लेंगे.

घटना के बाद परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है. परिजन मासूम बच्चों का चेहरा देखकर अपने आंसू नहीं रोक पा रहें. इस घटना ने हर किसी को झकझोर कर रख दिया है. 7 साल के बेटे ने पिता सौरभ बब्बर के शव को मुखाग्नि दी.

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